नेपाल में सियासी पारा गर्म, राष्ट्रपति से मिलने से पहुंचे पीएम ओली

टीम भारत दीप |
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नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली
नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली

नेपाल की राजधानी काठमांडू में सियासी ड्रामा जारी है। नेपाल सरकार ने संसद के चल रहे बजट सत्र को स्थगित (भंग किए बिना) करने का फैसला किया है।

काठमांडू। नेपाल में इन दिनों सियासी पारा काफी गर्म है। प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली के इस्तीफे की खबरों के बीच वह गुरुवार को राष्ट्रपति बिदृयादेवी भंडारी से मिलने को शीतल आवास पहुंचे। माना जा रहा है कि ओली आज देश को संबोधित कर सकते हैं। नेपाल कम्युनिस्ट पार्टी के वरिष्ठ नेतृत्व ने उनका इस्तीफा मांगा था। वहीं, आज कैबिनेट ने अहम फैसला लेते हुए संसद के बजट सत्र को स्थगित करने का फैसला लिया। यह भी खबर है कि इस कैबिनेट बैठक में पीएम ओली मौजूद नहीं थे।  

इस बैठक में भी नहीं शामिल हुए पीएम
वहीं, बलुवतार में हुई कम्युनिस्ट पार्टी की स्थायी समिति की बैठक में पीएम ओली शामिल नहीं हुए। उनकी पार्टी के भीतर के वरिष्ठ नेता जैसे माधव कुमार नेपाल, झाला नाथ खनाल, बामदेव गौतम और नारायण काजी श्रेष्ठ के अलावा अन्य लोग प्रधानमंत्री से इस्तीफे की मांग करते रहे हैं। दूसरी तरफ, नेपाल की राजधानी काठमांडू में सियासी ड्रामा जारी है। नेपाल सरकार ने संसद के चल रहे बजट सत्र को स्थगित (भंग किए बिना) करने का फैसला किया है। यह निर्णय बलुवतार में ओली के आधिकारिक निवास पर आयोजित कैबिनेट की बैठक में लिया गया।

करीबी नेताओं संग की मीटिंग
सत्तारूढ़ नेपाल कम्युनिस्ट पार्टी (एनसीपी) में विभाजन की खबरों के बीच बुधवार को पीएम ओली ने अपने प्रमुख करीबी नेताओं के साथ बैठक की। बता दें कि कल आयोजित स्थायी समिति की बैठक के दौरान, 18 में से 17 एनसीपी सदस्यों ने ओली के इस्तीफे की मांग की। पीएम ओली के इस्तीफे की मांग करने वाले अन्य कारणों के अलावा, उनका भारत पर सरकार को गिराने की कोशिश करने वाला बयान विवाद की मुख्य वजह बताया जा रहा है। ओली के इस बयान से पार्टी के वरिष्ठ नेता खासा नाराज हैं। 

नागरिकता बिल का हुआ विरोध
बुधवार को नेपाल की मुख्य विपक्षी पार्टी जनता समाजवादी पार्टी (जेएसपी) ने नागरिकता बिल को लेकर राष्ट्रव्यापी प्रदर्शन किया। पार्टी का कहना है कि बिल देश के अल्पसंख्यकों के खिलाफ है।जेएसपी नेता हिशिला यामी भट्टाराइ ने कहा कि केंद्र सरकार ने अपना ध्यान कोरोना वायरस स्थिति को नियंत्रित करने से हटाकर नागरिकता संशोधन विधेयक पर स्थानांतरित कर दिया है। कहा कि वर्तमान नागरिकता अधिनियम के खंड 5.1 के अनुसार, अगर कोई विदेशी महिला नेपाली पुरुष से विवाह करती है तो वह तुरंत नागरिकता की पात्र हो जाती है, जबकि नेपाली महिलाओं से शादी करने वाले विदेशी पुरुष के लिए ऐसा कोई प्रावधान नहीं है।


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