कोरोना टीकाकरण: ऐसे लोगों को रहना होगा अलर्ट, पढ़ें पूरी खबर
अगर आपको कोविड वैक्सीन लगने जा रही है तो यह ध्यान रखना है कि पिछले 14 दिनों में आपको टिटनेस या निमोनिया, हेपेटाइटिस अथवा इन्फ्लुएन्जा का टीका तो नहीं लगा है, क्योंकि कोविड का टीका लगवाते समय यह आवश्यक है कि टीका लगने से 14 दिन के अंदर कोई भी वैक्सीन न ली गयी हो।
लखनऊ। पूरी दुनिया में तबाही मचाने वालों कोरोना वायरस के खिलाफ जंग का ऐलान हो चुका है। कोरोना को मात देने को भारत में कोविड-19 टीकाकरण का महाअभियान षुरू हो चुका है। लेकिन ऐसे में कुछ विशेष बातों का ख्याल रखना बहुत जरूरी है। किन लोगों को इस टीकाकरण से परहेज करते हुए सावधानी बरतनी चाहिए, यह भी बताया जा रहा है।
इस बाबत एशिया के प्रतिष्ठित चिकित्सा संस्थानों में शुमार किंग जार्ज मेडिकल यूनिवर्सिटी (केजीएमयू) के पल्मोनरी विभाग के विभागाध्यक्ष व कोविड वैक्सीनेशन कमेटी के विशेषज्ञ सदस्य डॉ सूर्यकांत ने बताया कि वैश्विक महामारी कोविड के खिलाफ लड़ाई में विजय पाने के लिए किया जा रहा टीकाकरण एक एडल्ट वैक्सीनेशन प्रोग्राम है।
उन्होंने बताया कि टिटनेस का इंजेक्शन एक ऐसा इंजेक्शन है जो चोट आदि लग जाने पर लगाया जाता है, और यह इतना कॉमन है कि लोहे की किसी चीज से चोट लगने, सड़क पर गिरने से थोड़ी सी भी चोट लगने पर टिटनेस से बचाने के लिए लगा दिया जाता है।
ऐसे में अगर आपको कोविड वैक्सीन लगने जा रही है तो यह ध्यान रखना है कि पिछले 14 दिनों में आपको टिटनेस या निमोनिया, हेपेटाइटिस अथवा इन्फ्लुएन्जा का टीका तो नहीं लगा है, क्योंकि कोविड का टीका लगवाते समय यह आवश्यक है कि टीका लगने से 14 दिन के अंदर कोई भी वैक्सीन न ली गयी हो।
डॉ सूर्यकांत के मुताबिक यह टीका 18 वर्ष से कम आयु के लोगों को नहीं लगना है, क्योंकि जितने भी दुनिया में और भारत में वैक्सीन को लेकर ट्रायल हुए हैं उनमें 18 वर्ष से कम की उम्र के लोगों को शामिल नहीं किया गया है, इसलिए उन पर अनुभव नहीं है। इसके अलावा गर्भवती महिलाओं को भी यह टीका नहीं लगना है।
उनके मुताबिक जो माताएं बच्चों को दूध पिला रही हैं, उन्हें भी यह वैक्सीन नहीं लगनी है। क्योंकि इन लोगों पर भी इसका ट्रायल नहीं हुआ है। डाॅ. सूर्यकान्त के मुताबिक इसके अतिरिक्त जिन लोगों को इस समय बुखार आ रहा है या हाल ही में गंभीर बीमारी का अटैक हुआ है, उनको भी कोविड वैक्सीन नहीं लगायी जानी है।
उनके मुताबिक 18 वर्ष की आयु से ऊपर के लोग चाहे वे हृदय रोग, डायबिटीज, सांस की बीमारी से, लिवर की बीमारी से, गुर्दे की बीमारी सहित किसी भी बीमारी से पीड़ित हों, सभी को टीका लगना है। उन्होंने बताया कि कुछ लोग उनसे पूछ रहे थे कि उनकी इम्युनिटी कमजोर है, किडनी की बीमारी है, तो इसमें लगना है कि नहीं।
ऐसे लोगों को सलाह देते हुए वे बताते है कि सभी वयस्क व्यक्तियों को यह टीका लगना है, सिर्फ एक्युट बीमारी और फेब्राइल बीमारी को छोड़कर बाकी सभी बीमारी से ग्रस्त होने के बाद भी यह टीका लगना है।