झारखंड के शिक्षा मंत्री ने 11वीं कक्षा में एडमिशन लेकर सभी को हैरत में डाल दिया

टीम भारत दीप |

शिक्षा मंत्री ने कहा कि वह सारा काम देखते हुए सब कुछ करेंगे। ‘क्लास भी करेंगे और मंत्रालय भी संभालेंगे।
शिक्षा मंत्री ने कहा कि वह सारा काम देखते हुए सब कुछ करेंगे। ‘क्लास भी करेंगे और मंत्रालय भी संभालेंगे।

जो ख़ुद दसवीं तक पढ़ा है तो आख़िर कैसे मंत्रालय का कार्यभाल संभालेगा। ये बात उन्हें काफ़ी ख़ल रही थी। इसके चलते उन्होंने फ़ैसला किया कि पढ़ाई को पूरा करेंगे।

रांची। झारखंड के इतिहास में ये शायद पहली बार होगा जब कोई शिक्षा मंत्री छात्रों के साथ क्लास करेगा। शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने 53 वर्ष की उम्र में ये फ़ैसला किया है कि वह अपनी अधूरी पढ़ाई को पूरी करेंगे। यही वजह है कि उन्होंने ग्यारहवीं कक्षा में दाख़िला करवाया है। उनके इस फ़ैसले ने सभी को चौंका दिया है। 

दरअसल, शिक्षा मंत्री की शिक्षा सिर्फ़ दसवीं तक ही है। जब जनवरी में वह मंत्री बने तो तभी से विपक्षी उन पर ये सवाल उठा रहे थे कि जो ख़ुद दसवीं तक पढ़ा है तो आख़िर कैसे मंत्रालय का कार्यभाल संभालेगा। ये बात उन्हें काफ़ी ख़ल रही थी। इसके चलते उन्होंने फ़ैसला किया कि पढ़ाई को पूरा करेंगे। 

उनका कॉलेज के प्राचार्य दिनेश प्रसाद वर्णवाल ने खुद शिक्षा मंत्री का आर्ट्स संकाय में रजिस्ट्रेशन किया। कॉलेज के कार्यालय कक्ष में जाकर मंत्री महतो ने नामांकन फॉर्म भरा और 1100 रुपये शुल्क के साथ उसे जमा करवाया। शिक्षा मंत्री ने कहा कि वह सारा काम देखते हुए सब कुछ करेंगे। ‘क्लास भी करेंगे और मंत्रालय भी संभालेंगे। घर में किसानी का काम भी करेंगे, ताकि मेरे काम को देखकर अन्य लोग भी प्रेरित हों। 

जगरनाथ महतो ने कहा, शिक्षा हासिल करने की कोई उम्र सीमा नहीं होती। नौकरियों करते हुए लोग आईएएस, आईपीएस की तैयारी करते हैं और सफल भी होते हैं। शिक्षा मंत्री ने कहा कि उनके अंदर कुछ करने का जज़्बा है। शिक्षामंत्री ने बताया कि राज्य सरकार शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार लाने के लिए निरंतर प्रयासरत है, सोमवार को ही उन्होंने राज्यभर में 4,416 आदर्श इंटर स्कूल स्थापित करने के लिए विभाग की एक संचिका पर हस्ताक्षर किया है। 

एडीआर की रिपोर्ट के मुताबिक चुनाव में दाखिल शपथ पत्र के अनुसार झारखंड में जगरनाथ महतो के अलावा कई और मंत्री है जो दसवीं पास है। बन्ना गुप्ता ( स्वास्थ्य मंत्री), चंपई सोरेन (परिवहन मंत्री), जोबा मांझी (समाज कल्याण मंत्री) और सत्यानंद भोक्ता ( श्रम मंत्री) भी दसवीं पास है।


संबंधित खबरें