कोरोना महामारी में बढ़ी मोदी सरकार की आमदनी, यूं कमाए 4.51 लाख करोड़ रूपये

टीम भारत दीप |

पेट्रोल-डीजल पर टैक्स और सेस घटाने की मांग तेज ।
पेट्रोल-डीजल पर टैक्स और सेस घटाने की मांग तेज ।

केंद्र सरकार की पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स पर कस्टम एंड एक्साइज ड्यूटी से खूब कमाई हुई है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सरकार को इनडायरेक्ट टैक्स से आने वाला रेवेन्यू लगभग 56.5% बढ़कर 4.51 लाख करोड़ रुपए से अधिक हो गया है। यह जानकारी राइट टू इन्फॉर्मेशन (RTI) से सामने आई है।

नई दिल्ली। कोरोना की त्रासदी ने जहां एक ओर लोगों को आर्थिक व मानसिक तौर पर झकझोर कर रख दिया तो वहीं इस दरम्यान केंद्र सरकार की पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स पर कस्टम एंड एक्साइज ड्यूटी से खूब कमाई हुई है। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक सरकार को इनडायरेक्ट टैक्स से आने वाला रेवेन्यू लगभग 56.5% बढ़कर 4.51 लाख करोड़ रुपए से अधिक हो गया है।

यह जानकारी राइट टू इन्फॉर्मेशन (RTI) से सामने आई है।जारी रिपोर्ट के अनुसार फाइनेंशियल ईयर 2020-21 में पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स के इम्पोर्ट पर 37,806.96 करोड़ रुपए कस्टम ड्यूटी वसूली गई। इधर देश में इन प्रोडक्ट्स की मैन्युफैक्चरिंग पर सेंट्रल एक्साइज ड्यूटी से सरकार को 4.13 लाख करोड़ रुपए की कमाई हुई।

जानकारी के मुताबिक RTI के तहत मांगी गई जानकारी के जवाब में बताया गया है कि 2019-20 में पेट्रोलियम प्रोडक्ट्स के इम्पोर्ट पर सरकार को कस्टम ड्यूटी के रूप में 46 हजार करोड़ रुपए का रेवेन्यू मिला था। उधर देश में इन प्रोडक्ट्स की मैन्युफैक्चरिंग पर सेंट्रल एक्साइज ड्यूटी से 2.42 लाख करोड़ रुपए की वसूली हुई है।

बताया गया कि अब यदि दोनों तरह की टैक्स वसूली को देखें तो सरकारी खजाने में 2019-20 में कुल 2.88 लाख करोड़ रुपए जमा हुए। बताया गया कि सरकारी खजाने में टैक्स से जमा राशि की जानकारी मध्य प्रदेश के नीमच जिले के RTI कार्यकर्ता चंद्रशेखर ने शेयर की है। उन्होंने वित्त मंत्रालय और आंकड़ा प्रबंधन महानिदेशालय (DGSDM) से RTI के जरिए इस पर जवाब मांगा था।

दरअसल यह जानकारी ऐसे समय पर सामने आई है, जब पेट्रोल-डीजल पर टैक्स और सेस घटाने की मांग तेज है। वहीं इकोनॉमिस्ट जयंतीलाल भंडारी के मुताबिक महंगे पेट्रोल-डीजल से केवल आम आदमी ही नहीं, बल्कि पूरी इकोनॉमी की हालत पटरी से उतरी हुई है। बताया गया कि देश के आर्थिक हालत पहले से ही कोरोना महामारी की मार झेल रही है।

उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य सरकारें खासकर पेट्रोल-डीजल पर अपने टैक्स घटाकर लोगों को महंगाई से राहत देने की वकालत भी की है।


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